श्यस्योदये जगदिदं प्रतिबोधमेतिए मध्यस्थिते प्रसरति प्रकृतिक्रियासु ! अस्तं गते स्वपिति चोच्छ्वसितैकमात्रंए भावत्रये स जयति प्रकटप्रभावः!!श्
ज्योतिष विज्ञान मानव जीवन की घटनाओं की पूर्ण सूचना दे देता है इस व्यापक ब्रम्हाण्ड में सभी क्रियाएं ग्रह नछत्र और तारों से प्रभावित होती हैं मनुष्य की विचार शक्ति से ग्रहों का सीधा सम्बन्ध हैए भाग्य अपरिवर्तनीय है और पुरुषार्थ हमारे अधीन है अतः ग्रहों के प्रभाव से ही संसार का प्रत्येक कार्य होता है इन ग्रहों के शुभ होने पर मनुष्य सब प्रकार के सुख साधनो को प्राप्त कर लेता है प्रत्येक सांसारिक वस्तुओं पर गृह अपना पूर्ण प्रभाव डालते हैं। मनुष्य के समस्त कार्य ज्योतिष द्वारा ही चलते हैं व्यव्हार के लिए उपयोगी दिनए सप्ताहए पक्षए अयनए ऋतूए वर्ष आदि का ज्ञान इसी विधा से होता हैए ज्योतिष विज्ञान वह विज्ञानं है जो मनुष्य के भूतए वर्तमान एवं भविष्य का ज्ञान प्रस्तुत करता है जिसके माध्यम से आप सौभाग्यए समृद्धिए व्यापारए भूमिए भवनए वाहनए धनए वैभवए शिक्षाए सफलताए सम्बन्धए सुअवसरए यशए कीर्तिए शक्तिए संतानए स्वस्थ्य आदि के बारे में जान सकते हैंए आपकी मदद करने के लिए हम ज्योतिष एवं तंत्र उपायों की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदान कर रहे हैं।
ज्योतिष एवं तंत्र के क्षेत्र में अभिषेक मिश्र जी ने बहोत ही प्रसिद्धि प्राप्त की और मिश्र जी की कुल परम्परागत देवी के अन्वय उपासक हैंए देवी की कृपा से मिश्र जी ने लोगों की अतयंत जटिल समस्याओं से लोगों को निदान दिलाया हैए श्री अभिषेक मिश्र का मानना है की ष्भाग्य अपर्वतनीया है और पुरुषार्थ हमारे अधीन है अतः ग्रहों के प्रभाव से संसार का प्रत्येक कार्य होता हैए इन ग्रहों के शुभ होने पर मनुष्य अब प्रकार के साधनो को प्राप्त कर लेता हैए संसार की प्रत्येक वस्तु पर गृह अपना प्रभाव डालतें हैं परन्तु प्रकृति की उपासना एवं ग्रहों का उपचार से जीवन को सुगम एवं वैभव सम्पन्न बनाया जा सकता है और ग्रहों के प्रतिकूल प्रभाव से बचा जा सकता है। अभिषेक मिश्र ने विगत 20 वर्षो में देवी के 51 शक्ति पीठ दर्शन के साथ ही विभिन्न साधनाओं को पूर्ण कियाए उन्होंने विभिन्न प्रदेशों से जुड़े कई प्रतिष्ठित ग्राहकों से परामर्श किया और विभिन्न क्षेत्रों में उनकी मदद की विगत वर्षों की साधनाओं के दौरान श्री मिश्र देवी के साक्षात्कार जैसा अनुभव हुआ जिसे श्री अभिषेक मिश्र साक्षात देवी कृपा मानते हैं जिससे प्रेरित होकर मिश्र जी ने इस पटल का नाम स्वधा ज्योतिष रखा जो स्वयं देवी का ही नाम है और तंत्र साक्षात देवी स्वरुप है अभिषेक मिश्र के परदादा पंण् श्री सत्यनारायण मिश्र देवी माँ काली के अनन्य उपासक थे जिन्हे स्वयं देवी का साक्षात्कार प्राप्त था जिनके परदादा पंण् कलाधार राम मिश्र जिन्हे माँ काली पुत्रवत स्नेह करती थी जिन्होंने पूर्ण काल में अपने चमतकार से प्रतिपदा के चन्द्रमा में द्वितीय का चन्द्रमा राज्य दरबार में सिद्ध कर दिखाया था जिससे प्रभावित होकर राजा ने उन्हें अपना गुरु बनाया था और गुरु दच्छिणा क्रम में 7 गावों का दान किया जिनके अन्नय भक्ति से प्रसन्न होकर माँ काली ने अपने विग्रह स्वरुप में ग्राम खैरखुंता में निवास किया आज भी विद्यमान है।
ज्योतिष एवं तंत्र के क्षेत्र में श्री अभिषेक कुमार मिश्र जी एक प्रसिद्ध नाम हैंए सर्वोत्तम और ज्योतिषीय एवं तंत्र के प्रभाव एवं उपायों से लोगों की समस्याओं का त्वरित निवारण करके श्री मिश्र लोगों के लिए प्रेरणा श्रोत बन गए हैं।